Sunday - 7 January 2024 - 5:42 AM

राजनीति में कोई नई नहीं है चाचा-भतीजे की लड़ाई

जुबिली स्पेशल डेस्क

लखनऊ। भारतीय राजनीति में परिवारवाद का बोलबाला अक्सर देखने को मिलता रहता है। राष्ट्रीय दल हो या फिर क्षेत्रीय दल हो, सबमें परिवारवाद देखने को मिलता है।

राजनीति में वंशवाद या भाई-भतीजावाद को लेकर अक्सर बहस देखने को मिलती रहती है। हालांकि भारतीय राजनीति में चाचा और भतीजे की जोड़ी अक्सर फ्लॉप रही है और इस जोड़ी में रार देखने को समय-समय पर मिलती रही है।

ताजा उदाहरण लोक जनशक्ति पार्टी में चाचा पशुपति कुमार पारस और भतीजे चिराग पासवान के बीच टकराव।

 अतीत में भारतीय राजनीति में मशहूर ऐसी ही चाचा भतीजे की जोडिय़ां है जो अक्सर आपसी झगड़े की वजह से टूट गई है।

अखिलेश व शिवपाल में नहीं बनी

उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी अभी सत्ता से दूर है लेकिन विधान सभा चुनाव को लेकर उसकी तैयारी जोरो पर चल रही है लेकिन चाचा और भतीजे अब तक एक नहीं हो सके।

हालांकि समाजवादी पार्टी में शिवपाल की वापसी को लेकर समय-समय पर कयास लगते रहे हैं।पिता मुलायम सिंह यादव ने अपने बेटे को अपना राजनीतिक उत्तराधिकारी बनाये हैं।

शिवपाल ये बात पसंद नहीं आई और उन्होंने मौका देखकर सपा से किनारा कर अपनी नई पार्टी बना डाली है जो सपा का विकल्प के तौर पर अपनी दावेदारी पेश कर रही है।

राज ठाकरे ने भी किया था किनारा

शिवसेना में बाल ठाकरे के वारिस कौन होगा इसको कयास लगाया जा रहा था। दरअसल बाला साहेब ठाकरे जब जिंदा थे तब राज ठाकरे उनके काफी करीब थे।

माना जा रहा था कि उनको अपना वारिस बनायेंगे लेकिन ऐसा हुआ नहीं और राज ने साल 2006 में चाचा बालासाहेब से किनारा कर अपनी नई पार्टी बनाकर सबको चौंका डाला था।

महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के नाम उनकी पार्टी को जाना जाता है। हालांकि राज ठाकरे अब तक उतना कामयाब नहीं हुए जितनी उम्मीद की जा रही थी।

अजीत पवार ने शरद पवार को जब चौंकाया

शरद पवार और अजीत पवार की जोड़ी राजनीति में अच्छी मानी जाती थी लेकिन चाचा को एक दिन एहसान नहीं था उनका भतीजा अजीत अपनी राजनीतिक महत्वकांक्षा को पूरा करने के लिए बीजेपी से हाथ मिला लेगा लेकिन रातों-रात बीजेपी के साथ सरकार बनाने के बाद उनकी पारी वहां चल नहीं सकी और इस्तीफा देकर वापस चाचा के पास आना पड़ा।

बादल परिवार मेें भी दरार

पंजाब में बादल परिवार में चाचा प्रकाश सिंह बादल और भतीजे मनप्रीत बादल के बीच में भी विवाद खुलकर देखने को मिला। प्रकाश सिंह बादल ने अपने बेटे को आगे बढ़ाया जो भतीजे को पसंद नहीं आया और मनप्रीत ने अपनी राहे अलग कर ली और पंजाब पीपुल्स पार्टी का गठन कर लिया।

चौटाल परिवार में भी रार

हरियाणा की राजनीति में चौटाल परिवार काफी चर्चा रहती है लेकिनओम प्रकाश चौटाला जेल जाने के बाद इस परिवार में भी खुलकर रार देखने को मिली। 2014 चाचा अभय चौटाला और भतीजा दुष्यंत चौटाला के राहे अलग-अलग हो गई।

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