Sunday - 7 January 2024 - 1:13 PM

तो क्या दिल्ली चुनाव में ताल ठोकेगी नीतीश की जेडीयू

न्यूज डेस्क

दिल्ली में चुनावी रणभेरी बज चुकी है और सभी दल मैदान में उतर गए हैं। चुनाव की तिथि का ऐलान के साथ ही ऐसी चर्चा है कि दिल्ली की त्रिकोणीय लड़ाई में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सहयोगी जनता दल यूनाइटेड भी मैदान में उतरने की तैयारी में है।

बिहार की राजग सरकार में मंत्री और दिल्ली के प्रभारी संजय झा ने बताया कि उनकी पार्टी लगभग 35 सीटों पर दमखम के साथ अपने प्रत्याशी उतारेगी। जाहिर है जेडीयू ऐसे सीटों को प्राथमिकता देगी जहां पूर्वांचल के लोगों की संख्या ज्यादा है। जेडीयू पेयजल के मुद्दे के साथ मैदान में उतरेगी।

मालूम हो कि कुछ दिनों पहले दिल्ली में पेयजल की गुणवत्ता को लेकर केजरीवाल सरकार और बीजेपी के बीच खूब आरोप-प्रत्यारोप का दौर चला था। हालांकि इन दोनों के बीच इसको लेकर अभी भी रार बनी हुई है।

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दिल्ली के जेडीयू प्रभारी संजय झा का कहना है कि बिहार में एक मानक तय कर दिया है। बिहार में 2020 के अंत तक हर घर में साफ पेयजल पाइप से पहुंचाने का काम पूरा हो जाएगा। जदयू दिल्ली में भी यह कर दिखाएगा।

गौरतलब है कि बिहार में नीतीश सरकार बीजेपी के सहयोग से ही सत्ता में बने हुए हैं। पर लोकसभा चुनाव के बाद से जेडीयू और बीजेपी में सब ठीक नहीं चल रहा है। सीएए पर नीतीश कुमार ने संसद में भले ही बीजेपी को समर्थन दिया हो लेकिन एनआरसी को लेकर जेडीयू अपना स्टैंड क्लीयर कर चुकी है कि बिहार में एनआरसी लागू नहीं करेगी।

इसके अलावा हाल ही में झारखंड में हुए विधानसभा चुनाव में जेडीयू ने बीजेपी से अलग होकर चुनाव लड़ा था। परिणाम सबके सामने हैं। अब जबकि दिल्ली में भी जेडीयू अपने दम पर चुनाव लडऩे जा रही है तो इससे दोनों का नुकसान होगा। जाहिर है इससे बीजेपी और जदयू के बीच पूर्वांचल और बिहार के लोगों के बीच मतों का बंटवारा होगा।

मालूम हो दिल्ली में बिहार और यूपी के लोग बड़ी संख्या में रहते हैं। राजनीतिक विश्लेषकों की मानें तो दिल्ली की तकरबीन 20-22 सीटों पर पूर्वांचल और बिहार के वोटर्स का प्रभाव है। यही वजह है कि AAP, भाजपा और कांग्रेस तीनों ही प्रमुख दल पूर्वांचल के मतदाताओं पर नजर रख रहे हैं।

गौरतलब है कि  पिछले दिल्ली के विधानसभा चुनाव में आप को 67 सीटें मिली थी और पांच विधायकों के अयोग्य ठहराए जाने के बाद उनके पास 62 विधायक हैं। इस चुनाव में बीजेपी ने तीन सीटें जीती थी और बाद में उसने उपचुनाव में एक सीट जीता था, इस तरह विधानसभा में उसके चार विधायक हैं।

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