न्यूज़ डेस्क
भारतीय वायुसेना को चिकून हैवीलिफ्ट हेलीकॉप्टर मिलने के बाद शनिवार को पहला अटैक हेलीकाप्टर अपाचे मिल गया है। इसका निर्माण अमेरिका के एरीजोना में हुआ है। भारत ने अमेरिका के साथ 22 ऐसे हेलीकॉप्टर के लिए अनुबंध किया था।
दुनिया का सबसे खतरनाक हेलीकॉप्टर बोइंग एएच-64 ई अपाचे को माना जाता है। पिछले साल अमेरिका ने भारतीय सेना को छह एएच-64 ई हेलीकॉप्टर देने के समझौते पर हस्ताक्षर किया था। आपको बता दें कि अपाचे को चीन और पाकिस्तानी सीमा पर तैनात किया जाएगा।
क्यों है सबसे खतरनाक
- अपाचे गार्जियन मल्टी रोल फाइटर हेलिकॉप्टर है। यह 284 किमी प्रति घंटे तक की स्पीड से उड़ सकता है। इसमें दो जनरल इलेक्ट्रिक टी700 टर्बोशैफ्ट इंजन लगे हुए है।
- हेलिकॉप्टर में लेजर, इन्फ्रारेड और अन्य नाइट विजन सिस्टम लगाए गए हैं। यह अंधेरे में भी दुश्मनों को टारगेट करके वार कर सकता है।
- अपाचे हेलीकॉप्टर को अमेरिका ने पनामा से लेकर अफगानिस्तान और इराक तक के दुश्मनों से लोहा लेने में प्रयोग किया है। लेबनान और गाजा पट्टी में अपने सैन्य ऑपरेशनों के लिए इजरायल इसी का प्रयोग करता रहा है।
- साल 1975 में इसने पहली उड़ान भरी थी। अमेरिकी सेना में इसे साल 1986 में शामिल किया गया था।
- इसका वजन 5,165 किलोग्राम है। इसके अंदर दो पायलटों के बैठने की जगह होती है। इसे इस तरीके से डिजायन किया गया है कि यह युद्ध क्षेत्र में किसी भी परिस्थिति में टिका रह सकता है।
- इसमें हेल्मेट माउंटेड डिस्प्ले, इंटिग्रेटेड हेलमेट और डिस्प्ले साइटिंग सिस्टम लगा है। जिसकी मदद से पायलट हेलिकॉप्टर में लगी ऑटोमैटिक एम230 चेन गन से अपने दुश्मन को आसानी से टारगेट कर सकता है।
- अमेरिका के अलावा अपाचे को इजरायल, मिस्त्र और नीदरलैंड की सेनाएं भी इस्तेमाल करती हैं।