Tuesday - 30 January 2024 - 11:32 PM

गांधी-23 कांग्रेस को मजबूत करेगी या कमजोर ?

जुबिली न्‍यूज डेस्‍क 

पश्चिम बंगाल समेत पांच राज्यों में चुनावी बिगुल बजने के बाद सभी राजनीतिक दलों और उनके नेताओं का ध्यान सत्ता को कैसे पाया जाए इस पर लगा हुआ है। वहीं दूसरी ओर देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस, दल में गुटबाजी से परेशान है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी दक्षिण भारत में पार्टी को मजबूत करने में लगे हैं।

वहीं पार्टी की महासचिव बनने के बाद प्रियंका ने अपने को उत्तर प्रदेश तक ही सीमित कर रखा है। कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष बीमार हैं इस वजह से वे एक्टिव पॉलिटिक्स से फिलहाल दूरी बनाए हुए हैं।

प्रियंका और राहुल गांधी के सियासी दौरे को देखा जाए तो ऐसा लग रहा है कि राहुल गांधी दक्षिण भारत में कांग्रेस को मजबूत करने और प्रियंका गांधी ने उत्तकर भारत को चुन लिया है और अभी से मिशन 2024 की तैयारियों में जुट गए हैं। लेकिन उससे पहले कांग्रेस भीतर ही उनके सामने गांधी 23 के रूप में एक नई चुनौती सामने आ खड़ी हुई है।

दरअसल, राज्यसभा का कार्यकाल पूरा होने और संसद से विदाई के बाद कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद जम्मू कश्मीर की तीन दिवसीय यात्रा पर हैं। उनके साथ कांग्रेस में संगठन चुनाव कराने और नियमित अध्यक्ष की नियुक्ति की मांग करते हुए सोनिया गांधी को चिट्ठी लिखने वाले दिग्गज नेताओं का जमावड़ा शनिवार को जम्मू में लगा। शनिवार को जम्मू में रैली के दौरान कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने दिल्ली से आए कांग्रेस के नेताओं का स्वागत किया।

शांति सम्मेलन नाम से आयोजित कार्यक्रम में इन नेताओं ने मुखरता के साथ पार्टी को लेकर अपनी बात रखी। सीनियर लीडर और अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी कमजोर हुई है और हमें इसे मजबूत करने की जरूरत है। इस बात को हमें स्वीकार करना चाहिए। उन्होंने कहा कि जब आप प्लेन में जाते हैं तो आपको चलाने वाले के साथ-साथ एक इंजीनियर की भी जरूरत होती है जो इसका तकनीक के बारे में जानता हो। गुलाम नबी आजाद कांग्रेस के लिए इसी भूमिका में हैं। वह देश के सभी राज्यों की जमीनी हकीकत जानते हैं।

कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने कहा कि आजाद एक संकल्पित कांग्रेसी नेता हैं। आजाद उन नेताओं में से हैं जो कांग्रेस को समझते हैं। कांग्रेस और यह राष्ट्र दोनों को ही गुलाम नबी आजाद के दिशानिर्देश और मार्गदर्शन की जरूरत है।

जम्मू में मौजूद कांग्रेस नेता. (फोटो- आजतक)

वहीं, कांग्रेस नेता राजबब्बर ने कहा कि लोग हमें जी-23 कहते हैं लेकिन मैं आपको बता दूं कि हम गांधी-23 हैं। और गांधी-23 कांग्रेस की मजबूती चाहता है। पार्टी के आदर्शों के चलते गुलाम नबी आजाद बड़े बने। उनके रिटायरमेंट पर पीएम  मोदी भी भावुक हो गए थे। आजाद ही सही मायनों में लोकतांत्रिक हैं। कांग्रेस वो पार्टी है जहां हर किसी की सुनवाई होती है। यह गांधीवादियों और कांग्रेसियों की संस्कृति और परंपरा रही है।

आनंद शर्मा ने कहा, ‘बीते एक दशक में कांग्रेस कमजोर हुई है। हम पार्टी की बेहतरी के लिए आवाज उठा रहे हैं। पार्टी को एक बार फिर से हर स्तर पर मजबूत किए जाने की जरूरत है। नई पीढ़ी को पार्टी से जोड़ने की जरूरत है। हमने कांग्रेस के अच्छे दिन भी देखे हैं। हम अपनी इस उम्र में कांग्रेस को कमजोर नहीं देखना चाहते।’

ये भी पढ़ें: अखिलेश ने आखिर कौन सी की है बड़ी घोषणा

आनंद शर्मा ने कहा कि हम सभी आज जहां हैं, वहां तक पहुंचने के लिए एक लंबा रास्ता तय किया है। हममें से कोई ऐसा नहीं है, जो खिड़की के रास्ते आ गया हो। सभी दरवाजे से ही आए हैं। हम सभी लोग छात्र आंदोलन से निकले हैं। उन्होंने कहा कि मैंने किसी को यह अधिकार नहीं दिया है कि वह हमें बताए कि हम कांग्रेस में हैं या नहीं। यह हक किसी को नहीं है। हम पार्टी को बनाएं और उसे मजबूत करेंगे। हम कांग्रेस की एकता और मजबूती में यकीन करते हैं।

 

Radio_Prabhat
English

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com