जुबिली न्यूज डेस्क
पंजाब के फिरोजपुर जिले के ममदोट इलाके में सोमवार को एक दर्दनाक घटना घटी, जब बॉर्डर फेंसिंग के पार स्थित भारतीय किसानों के खेतों में अचानक आग लग गई। किसानों के सामने उनकी मेहनत से उगी फसल जलकर राख होती रही, लेकिन वे चाहकर भी कुछ नहीं कर पाए। वजह थी—बीएसएफ (BSF) द्वारा फेंसिंग के गेट बंद कर देना। किसानों ने आरोप लगाया कि यह आग पाकिस्तान की ओर से आई थी, जो देखते ही देखते भारतीय खेतों तक फैल गई और सबकुछ जला डाला।
150 एकड़ फसल जलकर राख
किसानों के मुताबिक, पाकिस्तानी खेतों में आग लगी थी और तेज हवाओं के चलते आग सीमा पार भारतीय खेतों तक आ गई। लेकिन सीमा सुरक्षा बल ने सुरक्षा कारणों से गेट बंद कर रखा था, जिससे किसान अपने ही खेतों तक नहीं पहुंच पाए। करीब 150 एकड़ में फैली नाड़ (फसल के अवशेष) और तूड़ी बनाने के लिए रखी गई पराली जलकर राख हो गई।
किसानों को 20 लाख का नुकसान
इस हादसे में किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ा। 9 ट्यूबवेल, बिजली की तारें और अन्य कृषि उपकरण आग की चपेट में आ गए। किसानों का अनुमान है कि कुल मिलाकर लगभग 20 लाख रुपये का नुकसान हुआ है। किसानों ने इसे पाकिस्तानी किसानों की “शरारत” बताया, जिनके खेतों से आग शुरू हुई थी।
बीएसएफ के नियमों के कारण बेबस किसान
बीएसएफ के नियमों के तहत बॉर्डर फेंसिंग के पार जाने के लिए सुरक्षा मंजूरी जरूरी होती है। हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद सुरक्षा कड़ी कर दी गई है, जिससे फेंसिंग के गेट बंद कर दिए गए हैं। इसी वजह से किसानों को अपने जलते हुए खेतों को बचाने का मौका नहीं मिला।
एक किसान ने दुख जताते हुए कहा, “हमारे सामने हमारी साल भर की मेहनत जलकर खत्म हो गई, लेकिन हम कुछ नहीं कर पाए। अगर हमें गेट खोलने दिया जाता तो शायद कुछ बचा पाते।”
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सरकार से मदद की मांग
किसानों ने सरकार से इस भारी नुकसान की भरपाई और मुआवजे की मांग की है। साथ ही उन्होंने अपील की है कि ऐसी घटनाओं से बचाव के लिए जरूरी उपाय किए जाएं, ताकि भविष्य में कोई किसान अपनी मेहनत को यूं खाक होते न देखे।
फिलहाल प्रशासन ने नुकसान का आंकलन शुरू कर दिया है और किसानों को आश्वासन दिया है कि उनकी समस्या को संबंधित विभागों तक पहुंचाया जाएगा।