दिल्ली एयरपोर्ट पर शानदार स्वागत : भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ियों ने पैरालंपिक में दो स्वर्ण, एक रजत और एक कांस्य सहित चार पदक जीते। यह पहली बार है जब बैडमिंटन को पैरालंपिक खेलों में शामिल किया गया है…

जुबिली स्पेशल डेस्क
लखनऊ। टोक्यो ओलम्पिक के बाद टोक्यो में हुए पैरालिंपिक खेलों का समापन हो गया है। जहां एक ओर भारतीय खिलाड़ी ने टोक्यो ओलम्पिक में जानदार प्रदर्शन किया तो वहीं पैरालिंपिक खेलों में भी भारत के खिलाडिय़ों ने इससे कई गुणा अच्छा प्रदर्शन किया है।
दरअसल पैरालिंपिक खेलों के भारतीय खिलाडिय़ों ने नया प्रतिमान स्थापित किया है। भारत ने इस टोक्यो पैरालिंपिक खेलों में भारतीय खिलाडिय़ों ने कुल 19 पदक जीतकर नया इतिहास रचा है।
जरूरी बात यह है कि इस बार के खेलों में पैरालिंपिक के इतिहास में मिले कुल पदकों से भी ज्यादा पदक जीत है। भारतीय खिलाडिय़ों के प्रदर्शन की हर कोई तारीफ कर रहा है।
दिव्यांग होने के बावजूद इन खिलाडिय़ों के हौंसले की जितनी तारीफ की जाये वो कम है। विश्व खेल पटल पर भारतीय खिलाडिय़ों ने दिव्यांग होने के बावजूद अपने प्रदर्शन से दुनिया जीतने का हौंसला दिखाया है।
उधर पैरा भारतीय बैडमिंटन खिलाडिय़ों ने बेहद यादगार प्रदर्र्शन किया है। अब से थोड़ी देर पहले भारतीय पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी टोक्यो से स्वदेश लौट आये हैं। इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे इन खिलाडिय़ों का लोगों का जोरदार स्वागत किया है।
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सभी पदक वीरों का दिल्ली एयरपोर्ट पर शानदार स्वागत हुआ। वहीं सुहास एलवाई की रिसीव करने के लिए गौतमबुद्ध नगर के मुख्य विकास अधिकारी अनिल कुमार सिंह, अपर जिला अधिकारी वंदिता श्रीवास्तव और बलराम सिंह एयरपोर्ट पहुंचे। सभी अफसरों ने डीएम को उनकी सफलता के लिए बधाई दी।
उधर भारतीय बैडमिंटन कोच गौरव खन्ना ने जुबिली पोस्ट को बताया है कि इस अभूतपूर्व स्वागत और लगाव के लिए सभी का शुक्रगुजार हूं। उन्होंने बताया कि इस बार पैरालंपिक खेलों में बैडमिंटन में सात खिलाडिय़ों ने हिस्सा लिया और छह खिलाडिय़ों ने सेमी फाइनल में स्थान पक्का किया।
उन्होंने कहा कि भारत के लिए ऐतिहासिक पल और इस बार चार पदक जीते हैं। अपने खिलाडय़िों के प्रदर्शन से अभिभूत भारत के पैरा बैडमिंटन राष्ट्रीय कोच गौरव खन्ना ने कहा कि उन्हें इस शिक्षक दिवस पर इससे बेहतर तोहफा नहीं मिल सकता।
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बता दें कि भारतीय बैडमिंटन खिलाडय़िों ने पैरालंपिक में दो स्वर्ण, एक रजत और एक कांस्य सहित चार पदक जीते। उन्होंने बताया कि यह पहली बार है जब बैडमिंटन को पैरालंपिक खेलों में शामिल किया गया है और इसमें भारतीय खिलाडिय़ों ने ऐतिहासिक प्रदर्शन किया।
जब मुझे द्रोणाचार्य पुरस्कार मिला था तो मेरे मन में एक खुशी थी जिसे मैं व्यक्त नहीं कर सकता था लेकिन पैरालंपिक खेलों के इन पदकों से जो खुशी मिली है वह उस खुशी से कम नहीं है।
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मैं अभिभूत हूं। हालांकि इस दौरान उन्होंने बताया कि तरुण (ढिल्लों) और पलक (कोहली) के पदक नहीं जीतने पर थोड़ी निराश हुई लेकिन अन्य खिलाडिय़ों ने शानदार प्रदर्शन किया।
पदक विजेता भारतीय खिलाड़ियों की सूची
स्वर्ण पदक विजेता
- 1. अवनि लेखरा (वुमेंस 10 मीटर एयर राइफल शूटिंग स्टैंडिंग एसएच1)
- 2. सुमित अंतिल (मेंस जेवलिन थ्रो एफ64)
- 3. मनीष नरवाल (पी4 मिक्स्ड 50 मीटर पिस्टल एसएच1)
- 4. प्रमोद भगत (बैडमिंटन मेंस सिंगल्स एसएल3)
- 5. कृष्णा नागर (बैडमिंटन मेंस सिंगल्स एसएच6)
रजत पदक विजेता
- 1. भाविनाबेन पटेल (वुमेंस सिंगल्स टेबल टेनिस – क्लास 4)
- 2. निशाद कुमार (मेंस हाई जंप टी47)
- 3. देवेंद्र झाझरिया (मेंस जेवलिन थ्रो एफ46)
- 4. योगेश काथुनिया (मेंस डिस्कस थ्रो एफ56)
- 5. सिंघराज अधाना (पी4 मिक्स्ड 50मीटर पिस्टल एसएच1)
- 6. मरियप्पन थंगावेलु (मेंस हाई जंप टी63)
- 7. प्रवीण कुमार (मेंस हाई जंप टी64)
- 8. सुहास एल यतिराज (बैडमिंटन मेंस सिंगल्स एसएल4)
कांस्य पदक विजेता
- 1. सुंदर सिंह गुर्जर (मेंस जेवलिन थ्रो एफ46)
- 2. सिंघराज अधाना (मेंस 10 मीटर एयर पिस्टल शूटिंग एसएच1)
- 3. शरद कुमार (मेंस हाई जंप टी63)
- 4. अवनि लेखरा (वुमेंस 50मीटर राइफल 3 पोजिशन शूटिंग एसएच1)
- 5. हरविंदर सिंह (मेंस इंडिविजुअल रिकर्व आर्चरी)
- 6. मनोज सरकार (बैडमिंटन मेंस सिंगल्स एसएल3)
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