जुबिली न्यूज़ डेस्क
नई दिल्ली. तेलंगाना के ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम चुनाव में अमित शाह की कोशिशों ने रंग दिखाया. ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम चुनाव में बीजेपी को फायदा हुआ है और टीआरएस को नुकसान. एआईएमआईएम को न फायदा हुआ न नुकसान. वह जिस मुकाम पर थी वहीं पर बरकरार है. बीजेपी भले ही इस चुनाव में निजाम सिटी में अपना मेयर बनाने का सपना पूरा नहीं कर पाई लेकिन इस चुनाव ने 2023 के विधानसभा चुनाव के लिए उसकी जमीन को मजबूती दी है। अगले विधानसभा चुनाव में उसे अपना भाग्य खुलता दिखाई दे रहा है.

पहली दिसम्बर को मतदान के बाद भी बीजेपी का दावा था कि उसे ही बहुमत मिलेगा लेकिन आज सुबह आठ बजे शुरू हुई मतगणना में जब तस्वीर साफ़ होती नज़र आयी तो वह टीआरएस का किला ढहाती नज़र आयी. हैदराबाद नगर निगम में टीआरएस का बहुमत था. उसे 99 सीटें मिली थीं. इस चुनाव में टीआरएस 57 सीटों पर सिमट गई है.
यह भी पढ़ें : दिल्ली जा रहे किसानों को यहां मिल रहा मुफ्त डीज़ल
यह भी पढ़ें : फ़्रांस में ज़ब्त हुई विजय माल्या की 14.34 करोड़ रुपये की सम्पत्ति
यह भी पढ़ें : हारने लगे चुनाव तो पुलिस अधिकारी की कर दी पिटाई
यह भी पढ़ें : डंके की चोट पर : मोहब्बत ऐसे क़ानून को मानने से इनकार करती है
एआईएमआईएम को पिछले चुनाव में 44 सीटें मिली थीं और वह दूसरे नम्बर की पार्टी थी. इस बार भी वह 44 सीटें हासिल करने की तरफ ही है लेकिन इस बार वह सदन में तीसरे नम्बर की पार्टी होगी. कांग्रेस को सिर्फ दो सीटें मिली हैं. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष ने इसकी ज़िम्मेदारी लेते हुए अपने पद से इस्तीफ़ा दे दिया है.
बीजेपी ने हैदराबाद में 47 सीटें जीती हैं. 4 से 47 की तरफ यह उसकी बड़ी छलांग है.
Jubilee Post | जुबिली पोस्ट News & Information Portal
