जुबिली स्पेशल डेस्क
लखनऊ। मथुरा का स्वास्थ्य विभाग इन दिनों सुर्खियों में है। दरअसल यहां के चिकित्सा अधीक्षकों ने नाराज होकर इस्तीफा देने का फैसला किया है। इतना ही नहीं चिकित्सा अधीक्षकों का एक ग्रुप मथुरा के मुख्य चिकित्सा अधिकारी से मिलकर अपनी समस्या बतायी है।
इस दौरान चिकित्सा अधीक्षकों ने कई तरह के बड़े आरोप लगाये हैं और कहा है कि जल्द उनकी मांगे नहीं सुनी जायेगी तो आने वाले दिनों में इससे बड़ा कदम उठाया जा सकता है।

चिकित्सा अधीक्षकों ने पत्रकारों से बातचीत में जिला प्रशासन पर निशाना साधते हुए कहा कि मौजूदा वक्त में जिला प्रशासन द्वारा विभिन्न समीज्ञा बैठक में स्वास्थ्य विभाग से जुड़ी परियोजनाओं के अन्तर्गत 100 प्रतिशत उपलब्धि के लिए अनुचित दबाब बनाया जा रहा है।

जिसके चलते सभी चिकित्सा अधीक्षकों को कार्य करने में विभिन्न परेशानियां उठानी पड़ रही है। इतना ही नहीं अनुचित तरीके से पिछले 3 माह का वेतन रोके जाने से पारिवारिक समस्याओं का भी सामना करना पड़ रहा है। इस दौरन उन्होंने बताया कि विगत हैं कि जनपद मथुरा सभी योजनाओं में सन्तोषजनक स्थिति में हैं।

इसके उपरान्त भी निरन्तर प्रयास करते हुए व दिशा निर्देशों का लगातार पालन करते हुए सभी ब्लाक चि.आ. अपना शत प्रतिशत प्रयास करते आ रहे हैं।
जिससे कि विगत 3 माह में अपेक्षित उपलधियों भी हासिल हुई लेकिन इसके बावजूद अक्सर समीक्षा बैठकों में गलत बर्ताव किया जा रहा है। इसके आलावा कभी-कभी तो प्रताडि़त किया जा रहा है। इस वजह से कर्मचारियों में भारी गुस्सा और सभी मानसिक तनाव से गुजर रहे हैं।

उन्होंने ये बताया कि पिछले काफी वक्त से लगातार काम कर रहे हैं और किसी ने अवकाश नहीं लिया है। चिकित्सा अधिकारी को लेकर भी सभी लोगों में भारी गुस्सा है।
इस वजह से चिकित्सा अधीक्षकों ने नाराज होकर इस्तीफा देने का फैसला किया है। कुल मिलाकर देखना होगा इन लोगों के इस फैसले के बाद शासन स्तर पर अगला कदम क्या उठाया जाता है।
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