जुबिली स्पेशल डेस्क
अपनी बेबाक छवि के लिए मशहूर उर्फी जावेद के लिए सोमवार की रात एक डरावने अनुभव में बदल गई। आधी रात को उनके घर के बाहर हुए हंगामे ने न सिर्फ उनकी नींद उड़ा दी, बल्कि उन्हें सुबह पुलिस स्टेशन तक जाना पड़ा।
उर्फी जावेद ने टाइम्स ऑफ इंडिया से बातचीत में इस पूरे वाकये को ‘खौफनाक’ बताते हुए बताया कि कुछ पड़ोसियों ने उनके साथ बदतमीजी और जबरदस्ती करने की कोशिश की।

उर्फी के मुताबिक, घटना रात करीब 3:30 बजे की है। उस वक्त वह अपनी बहनों डॉली और आसफी के साथ घर पर थीं। अचानक उनके घर की डोरबेल लगातार बजने लगी। उर्फी ने बताया कि करीब 10 मिनट तक कोई लगातार घंटी बजाता रहा। जब उन्होंने दरवाजा खोले बिना बाहर देखा, तो एक शख्स दरवाजा खोलने की जिद करता नजर आया, जबकि दूसरा कोने में खड़ा था। दोनों जबरन अंदर घुसने की बात कर रहे थे। पुलिस बुलाने की चेतावनी देने के बाद ही वे वहां से हटे।

सबसे चौंकाने वाली बात यह रही कि आरोपी कोई बाहरी नहीं, बल्कि उसी बिल्डिंग के 13वें फ्लोर पर रहने वाले लोग निकले। उर्फी का आरोप है कि वे खुद को किसी बड़े राजनेता का करीबी बता रहे थे और पुलिस के सामने भी उनका रवैया बदतमीजाना रहा। उर्फी ने बताया कि पुलिस स्टेशन जाते वक्त उन्होंने आरोपियों को सिक्योरिटी गार्ड से CCTV फुटेज डिलीट करने की बात करते भी सुना।

इस मामले में उर्फी जावेद ने मुंबई के दादाभाई नौरोजी पुलिस स्टेशन में एनसी दर्ज कराई है और अपनी हाउसिंग सोसाइटी को भी लिखित शिकायत सौंपी है। उन्होंने कहा कि इस तरह की घटनाएं अकेली रहने वाली महिलाओं को गहरे डर में डाल देती हैं। फिलहाल सोसाइटी कमेटी मामले को लेकर बैठक कर अगला कदम तय करेगी।

उर्फी ने कहा, “जब रात के 3 बजे कोई लड़की को दरवाजा खोलने के लिए मजबूर करे, तो यह बेहद डरावना होता है। अब मुझे अपने ही घर में असुरक्षा महसूस हो रही है।” उर्फी की बहन डॉली ने भी सोशल मीडिया पर मुंबई की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर सवाल उठाए हैं।
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