जुबिली स्पेशल डेस्क
महाराष्ट्र विधानसभा का फोटो सेशन उस वक्त सियासी चर्चाओं का विषय बन गया जब मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और शिवसेना (उद्धव गुट) प्रमुख उद्धव ठाकरे एक ही फ्रेम में नजर आए, लेकिन दोनों ने एक-दूसरे की ओर देखना तक मुनासिब नहीं समझा। इस पूरी घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है
फोटो सेशन के दौरान मुख्यमंत्री शिंदे, दोनों उपमुख्यमंत्री, मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले, विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर, उपाध्यक्ष नीलम गोरहे और विपक्ष के नेता अंबादास दानवे पहली पंक्ति में अपनी निर्धारित कुर्सियों पर बैठे थे। उसी वक्त उद्धव ठाकरे भी फोटो सेशन में शामिल होने पहुंचे।
नीलम गोरहे ने उन्हें अपने बगल वाली सीट पर बैठने का इशारा किया, लेकिन वहां पहले से ही एकनाथ शिंदे मौजूद थे। ऐसे में उद्धव ठाकरे ने नीलम गोरहे के दूसरी ओर चंद्रशेखर बावनकुले की कुर्सी पर बैठने का विकल्प चुना। दोनों नेताओं के बीच दूरी सिर्फ एक सीट की थी, लेकिन सियासी दूरी स्पष्ट दिख रही थी। इस पूरी घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।
दोनों आमने-सामने, फिर भी संवाद शून्य
ये दृश्य केवल फोटो सेशन तक सीमित नहीं था। एक ओर जहां ठाकरे और शिंदे के बीच तनाव झलक रहा था, वहीं दूसरी ओर ठाकरे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के बीच गर्मजोशी से अभिवादन होते देखा गया। दोनों ने हाथ जोड़कर एक-दूसरे का स्वागत किया और कुछ देर संवाद भी किया।
कब शुरू हुई सियासी कड़वाहट?
शिवसेना में दरार जून 2022 में पड़ी, जब एकनाथ शिंदे ने बगावत कर दी। 40 से अधिक विधायकों को साथ लेकर शिंदे गुट अलग हो गया और उद्धव ठाकरे की सरकार अल्पमत में आ गई। फ्लोर टेस्ट से पहले ही उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया।
तब से ही ठाकरे और शिंदे के बीच राजनीतिक रिश्ते तनावपूर्ण बने हुए हैं। वहीं, ठाकरे और फडणवीस, हालांकि राजनीतिक विरोधी हैं, लेकिन व्यक्तिगत व्यवहार में परिपक्वता दिखाते रहे हैं।