जुबिली न्यूज डेस्क
लोकसभा चुनाव को लेकर समाजवादी पार्टी और राष्ट्रीय लोकदल के बाद गठबंधन का औपचारिक एलान हो गया है. सूत्रों के मुताबिक जयंत चौधरी की पार्टी रालोद पश्चिमी यूपी की सात सीटों पर चुनाव लड़ेगी. इसके साथ ही दोनों दलों ने उम्मीदवारों को लेकर भी मंथन हुआ लेकिन अभी भी मुज़फ़्फ़रनगर सीट को लेकर दोनों दलों के बीच पेंच फँसा सुलझ गई है.

ख़बरों के मुताबिक रालोद पश्चिमी यूपी की सात सीटों पर चुनाव लड़ सकती है. इनमें मेरठ, मथुरा, बागपत, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, अमरोहा और कैराना की सीटें शामिल हैं. रालोद को सीटें तो सात दी जाएंगी लेकिन, तीन सीटों पर सपा का प्रत्याशी रहेगा जो रालोद के सिंबल पर चुनाव लड़ेंगे. दोनों दल इस पर सहमत हैं लेकिन, सुत्रों की माने तो मुज़फ़्फ़रनगर सीट पर अंतिम सहमति बन पाई है. सपा यहां पर अपना उम्मीदवार उतारेगी.
मुजफ्फरनगर को लेकर फंसा मामला 
शुक्रवार को सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और जयंत चौधरी के बीच इन सीटों और उम्मीदवारों को लेकर भी चर्चा हुई. कैराना और बागपत और मथुरा सीट पर रालोद के हिस्से में जा सकती है, इनमें कैराना सीट पर चुनाव चिन्ह तो रालोद का रहेगा. सपा मुज़फ़्फरनगर में भी अपना उम्मीदवार उतारेगी रालोद इस पर राजी है. हो सकता है सपा इस सीट पर अपने ही सिंबल पर उम्मीदवार उतारे और बिजनौर सीट रालोद के हिस्से में आए. इसी बात को लेकर दोनों दलों में अभी भी पेंच फँसा हुआ था जो अब सुलझ गया है.
पश्चिमी यूपी की सीट नगीना से आज़ाद समाज पार्टी के मुखिया चंद्रेशेखर चुनाव लड़ेंगे. इसलिए इस सीट को दोनों दलों ने ही छोड़ दिया है. इसे लेकर कोई चर्चा भी नहीं की गई है. सपा और रालोद पहले भी सिंबल और प्रत्याशी को लेकर फेरबदल देखने को मिला था. विधानसभा चुनाव में भी सिंबल पर सहमति बनने के बाद प्रत्याशी बदल दिए गए थे.
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