Tuesday - 16 January 2024 - 4:06 AM

मानवता पर गंभीर सवाल खड़ी कर रही है गर्भवती हथिनी की मौत

न्यूज डेस्क

दक्षिण भारत के केरल राज्य में एक गर्भवती हथनी की जान इंसानों की नीचता की वजह से चली गई। हथिनी की मौत मानवत पर गंभीर सवाल  खड़े कर रही है।

एक गर्भवती हथिनी की विस्फोटक भरा अनानास खाने से मौत हो ये गई। ये हथिनी पानी में खड़े तीन दिन मौत का इंतजार करती रही। ऐसा शक है कि कुछ शरारती तत्वों ने हथिनी को विस्फोटक भरा अनानास खिला दिया। वन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक हथिनी की उम्र 14-15 साल रही होगी।

ये भी पढ़े: कॉरोना का उत्तर पक्ष : दुनिया का स्त्री बनना

ये भी पढ़े: बहुत पुराना है अमेरिका में रंगभेद का इतिहास

मालापुरम जिले के वन अधिकारी मोहन कृष्णन की सोशल मीडिया पोस्ट के बाद यह मामला सामने आया है। पोस्ट के अनुसार जंगली हथिनी खाने की तलाश में जंगल से बाहर निकलकर एक गांव में पहुंची। गांव में घूमते समय उसे कुछ स्थानीय लोगों ने पटाखों से भरा अनानास दिया। गर्भवती हथिनी ने अनानास जैसे ही मुंह में डाला, वैसे ही वह फट पड़ा। हथिनी का मुंह और जीभ बुरी तरह झुलस गए। उसे सदमा भी लगा।

घायल होने के बाद वो इतनी पीड़ा में थी कि तीन दिन तक वेलियार नदी में खड़ी रही और उस तक चिकित्सीय मदद पहुंचाने के सभी प्रयास नाकाम रहे। इस दौरान उसका मुंह और सूंढ़ पानी के भीतर ही रहे। बीते बुधवार को उसने नदी में दम तोड़ दिया।

हथिनी की तस्वीर के साथ एक भावुक फेसबुक पोस्ट में वन अधिकारी मोहन कृष्णन ने लिखा, “असहनीय दर्द के कारण गांव की गलियों में भागते समय भी उसने एक भी इंसान को नुकसान नहीं पहुंचाया। उसने एक भी घर नहीं रौंदा।”

गर्भवती हथिनी को बचाने की कोशिश करने वाले कृष्णन के अनुसार दो हाथियों की मदद से उसे नदी से बाहर निकालने की काफी कोशिशें की गईं, लेकिन वह बाहर नहीं आई। 27 मई की शाम चार बजे उसने नदी में खड़े खड़े दम तोड़ दिया।  जब उसके शव को पोस्टमार्टम के लिए ले जाया गया तो पता चला कि वो गर्भवती थी।

यह भी पढ़ें : लालू बनाम नीतीश : शब्दों से युद्ध

यह भी पढ़ें : …तो क्या लॉकडाउन से कम हो रही इम्युनिटी

मोहन कृष्णन ने कहा, “वह सुयोग्य विदाई की हकदार थी। हम उसे एक लॉरी में जंगल के भीतर ले गये। वहां उसे लकडयि़ों में लेटाया गया, उस जमीन पर जहां वो खेलते हुए बड़ी हुई।

कृष्णनन ने बताया कि पोस्टमार्टम करने वाले डॉक्टर ने मुझे बताया कि वह अकेली नहीं थी। मास्क के बावजूद मैं डॉक्टर के दुख को समझ गया। हमने वहीं उसे जला दिया। हमने उसे प्रणाम किया और अंतिम श्रद्धांजलि दी।”

Radio_Prabhat
English

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com