जुबिली स्पेशल डेस्क
लखनऊ। भारतीय कुश्ती फेडरेशन और पहलवानों के बीच विवाद खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। अब जानकारी मिल रही है कि पहलवानों ने एक बार फिर भारतीय कुश्ती फेडरेशन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है और रविवार को फिर से जंतर-मंतर पर जुट गए है और धरने पर बैठ गए है।
वहीं पहलवानों की माने तो जब तक उन्हें न्याय नहीं मिलेगा, वह धरने से नहीं हटेंगे। ओलंपियन बजरंग पूनिया, विनेश फोगाट और साक्षी मलिक के साथ कई पहलवान इस दौरान मौजूद है और भारतीय कुश्ती फेडरेशन को अपने निशाने पर लिया है।
इसके साथ ही शोषण के खिलाफ न्याय की मांग दोहराई।इस दौरान पहलवानों ने मीडिया को जानकारी दी है कि उनकी सुनी नहीं जा रही है और उनकी शिकायतों पर क्या एक्शन लिया जा रहा है, इस बारे में भी कई ठोस जानकारी नहीं दी गई है।

मामला अब सुप्रीम कोर्ट जा पहुंचा है। देश के शीर्ष पहलवानों की भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह द्वारा कथित यौन दुराचार के खिलाफ एक याचिका पर सुनवाई के दौरान दिल्ली पुलिस ने कोर्ट को जानकारी दी है कि आज ही इस मामले में एफआईआर दर्ज की जाएगी। इसके साथ ही महिला पहलवानों को सुरक्षा देने का भी निर्देश देने को कोर्ट ने कहा है।
सीजेआई ने क्या कहा?
इसके बाद सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि सॉलिसीटर जनरल हम आपका वक्तव्य रिकॉर्ड कर लेते हैं. 1 हफ्ते बाद हमें आगे की जानकारी दी जाए. सॉलिसीटर जनरल ने इसपर कहा कि यह उचित नहीं है।
हर मामले में सीधे कोर्ट की या पूर्व जज की निगरानी की मांग की जाती है. शायद खिलाड़ी खुद नहीं जानते कि उनके नाम पर कुछ और भी चल रहा है।
CJI ने कहा कि दिल्ली पुलिस ने FIR दर्ज करने की बात कही है. हम अभी जांच के लिए STF बनाने पर कुछ नहीं कह रहे हैं. उन्होंने कहा कि नाबालिग खिलाड़ी पर खतरे की समीक्षा कर पुलिस कमिश्नर उसे सुरक्षा दें। बाकी खिलाड़ियों की सुरक्षा की भी समीक्षा हो. अगले शुक्रवार को मामला दोबारा सुनवाई के लिए लगाया जाएगा।
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