Tuesday - 28 October 2025 - 3:36 PM

पीके का अंजाम: डा.त्रेहन या बिग बी जैसा !

नवेद शिकोह 

अपने पेशेवर हुनर को वृहद आकार देने वालों की दो मिसालें हैं- सुप्रसिद्ध अभिनेता अमिताभ बच्चन ने अपना प्रोडक्शन हाउस खोला और वो डूब गया। विख्यात चिकित्सक नरेश त्रेहन ने चिकित्सालय खोला और वो चल गया। अपने हुनर के झंडे गाड़ चुके राजनीतिक रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने राजनीतिक दल बनाकर बिहार विधानसभा चुनाव में सभी सीटों पर लड़ने का साहस किया है। वो सफल होंगे या असफल। अपने हुनर से जुड़ा प्रोडक्शन हाउस बनाने वाले अमिताभ बच्चन की तरह घाटा उठाएंगे या डाक्टर नरेश त्रेहन की तरह अपने पेशे को वृहद आकार देकर सफल होंगे। बिहार के चुनावी नतीजे ये जिज्ञासा भी शांत करेंगे।

बिहार विधानसभा चुनाव का नतीजा मामूली नहीं होगा, बहुत कुछ बयां करेगा। पलायन और बेरोज़गारी से कराहते और जाति में उलझे इस सूबे का भविष्य तय करेगा ये चुनाव। दशकों से स्थापित जनता दल यूनाइटेड और राष्ट्रीय जनता दल की ताकत क्या कम होगी ? या कोई एक बचेगा और दूसरा खत्म होने की कगार पर आए जाएगा ? या दोनों का वर्चस्व क़ायम रहेगा ? या बिहार में भी महाराष्ट्र की राजनीति दोहराएगी और यहां के दिग्गज सियासी दलों को बौना करके भाजपा बड़ा भाई बनकर स्थापित होगी। यानि भाजपा यहां अपना मुख्यमंत्री बनाकर महाराष्ट्र जैसी चाल चलेगी ! अथवा मुद्दतों बाद भाजपा के पूरे होते सपनों पर पानी फेर देगी प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी। और फिर पलायन का दर्द झेलते सूबे में जाति धर्म से अलग विकास, रोजगार और खुशहाली के सूरज की किरणें नजर आने लगेंगी। या एक बार फिर पलटू राम पलटी मारेंगे ! संभावना इस बात की भी है कि एनडीए और महागठबंधन के सहयोगी पाला बदल कर भगदड़ मचा देंगे ?

कुछ भी हो सकता है। प्रशांत किशोर का अंजाम भी बहुत कुछ बयां करेगा।

मुख्यमंत्री से लेकर प्रधानमंत्री तक के सफर में नरेन्द्र मोदी को अत्यंत लोकप्रिय बनाने के श्रेय दाताओं में शामिल प्रशांत किशोर क्या राजनीतिक रणनीतिकार से सफल राजनेता बन सकेंगे ? यदि उनकी जन सुराज पार्टी जीतती है तो ये अपवाद होगा। क्योंकि इंजीनियर बिल्डिंग का नक्शा बना सकता है बिल्डिंग नहीं बना सकता। कोच खिलाड़ी तैयार कर सकता है मैदान में कुशलता से खेल नहीं सकता। संगीतकार गीत की धुन, लय यानी संगीत तैयार कर सकता है पर जरुरी नहीं कि वो अच्छी आवाज में गाना गा पाए। गीत लिखने वाला भी गाना गा नहीं सकता। फिल्म निर्देशक अभिनेता से अभिनय करवाता है पर अभिनय में वो दक्ष हो ये ज़रूरी नहीं। कोरियोग्राफर डांस कंपोज कर सकता है लेकिन अच्छे नर्तक की तरह नाच नहीं सकता।

अमिताभ बच्चन बतौर अभिनेता सदी के महानायक हैं, लेकिन जब उन्होंने ए. बी. सी. (अमिताभ बच्चन कॉर्पोरेशन ) प्रोडक्शन हाउस बनाया तो इस काम में बुरी तरह फ्लाप हुए। और कर्ज में डूबकर कंगाल हो गए थे। फिर आगे अपने अभिनय की कमाई से बेपनाह कर्जे से उबरे। पुनः अभिनय का सफर जारी रखकर वो सफलता की नित्य ऊंचाइयां छूने लगे।

बिहार चुनावी नतीजे बिहार की जनता के साथ प्रशांत किशोर की सियासत की ओपनिंग का भविष्य भी तय करेंगे। वो जीतेंगे, हारेंगे, बुरी तरह पराजित होंगे, मुख्यमंत्री बनेंगे, किंग मेकर या मजबूत विपक्षी बनकर बिहार के भविष्य को नई दिशा देंगे ? ये वक्त बताएगा। लेकिन यदि पीके जमीनी राजनीति की पहली ही पारी में सफल हो गए तो ये अपवाद होगा। वैसे ही जैसे एक बेहद सफल प्रक्टिशनर डाक्टर हरीश त्रेहन एक अस्पताल संचालक के रूप में भी कामयाबी के झंडे गाड़ने में कामयाब हुआ।

Radio_Prabhat
English

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com