जुबिली न्यूज डेस्क
लखनऊ, – उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने नेपाल सीमा से लगे जिलों में अवैध धार्मिक निर्माणों के खिलाफ सख्त अभियान छेड़ दिया है। सरकारी और निजी जमीनों पर बिना अनुमति बनाए गए मदरसे, मस्जिदें, मजारें और ईदगाह को चिन्हित कर प्रशासन या तो उन्हें सील कर रहा है या फिर बुलडोजर से ढहा दिया गया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर चल रहे इस अभियान के तहत अब तक 350 से अधिक अवैध धार्मिक स्थलों पर कार्रवाई की जा चुकी है। यह अभियान खासकर श्रावस्ती, बहराइच, सिद्धार्थनगर, बलरामपुर, पीलीभीत, लखीमपुर खीरी और महाराजगंज जैसे नेपाल सीमा से सटे संवेदनशील जिलों में तेज़ी से चल रहा है।
कहां कितनी कार्रवाई हुई?
श्रावस्ती: 104 मदरसे, 1 मस्जिद, 5 मजार और 2 ईदगाह चिन्हित; एक मदरसा गिराया गया।
बहराइच: 13 मदरसे, 8 मस्जिदें, 2 मजार और 1 ईदगाह पर कार्रवाई; 11 निर्माण हटाए, 5 सील।
सिद्धार्थनगर: 23 अवैध धार्मिक निर्माण चिन्हित; कार्रवाई जारी।
महाराजगंज: 29 मदरसे और 5 मजार ढहाए गए; एक मदरसे की चाबी थाने को सौंपी गई।
लखीमपुर खीरी: 13 अवैध धार्मिक स्थल पाए गए; 9 सील, 3 गिराए गए।
पीलीभीत: एक मस्जिद चिन्हित; नोटिस जारी।
बलरामपुर: 30 मदरसे, 10 मजार और 1 ईदगाह पर कार्रवाई; एक निर्माणाधीन मदरसा गिराया गया।
सरकार का पक्ष: कानून सर्वोपरि, धर्म नहीं निशाना
राज्य सरकार का कहना है कि यह कार्रवाई धार्मिक भावनाओं को आहत करने के लिए नहीं, बल्कि कानून व्यवस्था और भूमि अतिक्रमण रोकने के लिए की जा रही है। मुख्यमंत्री योगी ने स्पष्ट किया है कि “धर्म के नाम पर अतिक्रमण बर्दाश्त नहीं होगा” और संवेदनशील सीमा क्षेत्रों में किसी भी प्रकार का संभावित सुरक्षा खतरा पहले ही रोका जाना जरूरी है।
प्रशासन की अपील: खुद हटाएं अवैध निर्माण
प्रशासन ने आम जनता से अपील की है कि अगर किसी ने बिना अनुमति धार्मिक स्थल या संस्थान का निर्माण किया है तो स्वेच्छा से उसे हटाएं, अन्यथा सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी। प्रशासन की इस नीति को “नो टॉलरेंस” का हिस्सा माना जा रहा है।
ये भी पढ़ें-बिहार चुनाव से पहले राहुल गांधी का बड़ा दांव, दलित वोट बैंक को साधने में जुटी कांग्रेस
पृष्ठभूमि: बढ़ती निगरानी और सुरक्षा प्राथमिकता
बीते कुछ वर्षों में यूपी सरकार ने प्रदेशभर में अतिक्रमण हटाने के कई अभियान चलाए हैं। लेकिन नेपाल सीमा से सटे जिलों में यह विशेष अभियान इसलिए भी अहम है क्योंकि ये इलाके सीमा पार संदिग्ध गतिविधियों, घुसपैठ और कट्टरपंथी नेटवर्क के लिहाज से संवेदनशील माने जाते हैं।
Jubilee Post | जुबिली पोस्ट News & Information Portal
