जुबिवी न्यूज डेस्क
मध्य प्रदेश के उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा के एक बयान ने बड़ा राजनीतिक विवाद खड़ा कर दिया है। जबलपुर में आयोजित सिविल डिफेंस वॉलिंटियर्स प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान डिप्टी सीएम ने कहा,“पूरा देश, देश की सेना और सैनिक प्रधानमंत्री मोदी के चरणों में नतमस्तक हैं।”इस बयान को लेकर अब देवड़ा पर भारतीय सेना का अपमान करने का आरोप लग रहा है। विपक्षी दलों और कई पूर्व सैनिकों ने इस बयान को सेना के सम्मान के खिलाफ बताया है और सार्वजनिक माफी की मांग की है।
क्या है पूरा मामला?
डिप्टी सीएम जगदीश देवड़ा जबलपुर में एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले का जिक्र किया, जिसमें कुछ निर्दोष पर्यटकों को निशाना बनाया गया था। उन्होंने कहा कि“आतंकियों ने धर्म पूछकर लोगों को मारा, महिलाओं के सामने उनके पतियों को गोली मारी। उस दिन से पूरे देश में गुस्सा था।”
इसके बाद देवड़ा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा आतंकियों पर की गई कार्रवाई की तारीफ की और कहा कि“जिन महिलाओं के सिंदूर को मिटाने का काम आतंकियों ने किया, उन्हें और उनके सरपरस्तों को नेस्तनाबूद करना जरूरी है।”इसी क्रम में उन्होंने जो बयान दिया, उसने विवाद को जन्म दे दिया:“पूरा देश और देश की सेना, प्रधानमंत्री मोदी के चरणों में नतमस्तक है। उन्होंने जो जवाब दिया, उसकी जितनी सराहना की जाए वो कम है।”
राजनीतिक घमासान क्यों मचा?
डिप्टी सीएम के इस बयान के बाद कांग्रेस समेत विपक्षी दलों ने तीखी प्रतिक्रिया दी। आलोचकों का कहना है कि यह बयान सेना की स्वतंत्र और सम्मानजनक छवि को ठेस पहुंचाता है और उन्हें किसी राजनीतिक नेतृत्व के ‘चरणों’ में बताना अपमानजनक है।
विपक्ष ने इस बयान को “राष्ट्र की सुरक्षा भावना के खिलाफ” बताते हुए राज्यपाल से शिकायत की है और देवड़ा से सार्वजनिक माफी की मांग की है।
बीजेपी का बचाव और प्रतिक्रिया
जहां विपक्ष हमलावर है, वहीं बीजेपी नेताओं ने डिप्टी सीएम का बचाव किया है। उनका कहना है कि“बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया जा रहा है। डिप्टी सीएम का मकसद सिर्फ प्रधानमंत्री और सेना के बीच बेहतर तालमेल की तारीफ करना था।”
हालांकि, कुछ राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह बयान चुनावी समय में बीजेपी के लिए नुकसानदायक हो सकता है, क्योंकि सेना से जुड़े मुद्दे भावनात्मक और संवेदनशील माने जाते हैं।
पहले भी उठ चुके हैं सवाल
यह पहली बार नहीं है जब बीजेपी नेताओं के बयान सेना से जुड़े मामलों में विवादों में आए हैं। इससे पहले प्रदेश के वरिष्ठ मंत्री विजय शाह भी एक बयान को लेकर आलोचनाओं का सामना कर चुके हैं। अब जगदीश देवड़ा की टिप्पणी ने पार्टी को फिर से डिफेंस मोड में ला खड़ा किया है।
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सेना जैसे संवेदनशील विषय पर की गई टिप्पणी को लेकर राजनीतिक बयानबाज़ी तेज हो गई है। जहां एक ओर डिप्टी सीएम अपने बयान पर कायम हैं, वहीं दूसरी ओर राजनीतिक दल और सोशल मीडिया यूज़र्स इस पर खुलकर नाराज़गी जता रहे हैं। आने वाले समय में यह मुद्दा और तूल पकड़ सकता है