जुबिली स्पेशल डेस्क
भारत की स्टार वेटलिफ्टर मीराबाई चानू ने नॉर्वे के फोर्डे में चल रही विश्व वेटलिफ्टिंग चैंपियनशिप में शानदार प्रदर्शन करते हुए सिल्वर मेडल अपने नाम किया। यह इस प्रतिष्ठित टूर्नामेंट में उनका तीसरा पदक है। इसी के साथ वह भारत की उन चुनिंदा वेटलिफ्टरों में शामिल हो गई हैं जिन्होंने सबसे ज्यादा वर्ल्ड चैंपियनशिप मेडल जीते हैं।
मीराबाई ने 48 किलोग्राम वर्ग में कुल 199 किलोग्राम वजन उठाया। स्नैच राउंड में उन्होंने 84 किलोग्राम और क्लीन एंड जर्क में 115 किलोग्राम का भार उठाकर दूसरा स्थान हासिल किया।
उत्तर कोरिया की री सांग गुम ने 213 किलोग्राम उठाकर गोल्ड पर कब्जा जमाया। वहीं, चीन की थान्याथन के साथ मीराबाई की कांटे की टक्कर देखने को मिली।
स्नैच राउंड में थान्याथन चार किलोग्राम से आगे थीं, लेकिन क्लीन एंड जर्क में मीराबाई ने जोरदार वापसी कर उन्हें पीछे छोड़ते हुए एक किलो की बढ़त के साथ रजत पदक जीत लिया। थान्याथन को ब्रॉन्ज मिला।
इस उपलब्धि के बाद मीराबाई सीधे अपने कोच विजय शर्मा के पास पहुंचीं और उन्हें इस सफलता का श्रेय दिया। चोटों से जूझने के बाद मीराबाई के लिए यह पदक बेहद खास है। हाल ही में उन्होंने अहमदाबाद में आयोजित कॉमनवेल्थ चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता था।
मीराबाई का यह तीसरा वर्ल्ड चैंपियनशिप मेडल है। 2017 में उन्होंने अमेरिका के अनाहिम में गोल्ड जीता था, जबकि 2022 में कोलंबिया के बोगोटा में सिल्वर पर कब्जा किया था। अब 2025 में एक और सिल्वर जोड़कर उन्होंने इतिहास रच दिया।
मीराबाई से पहले सिर्फ दो भारतीय महिला वेटलिफ्टर—कुंजरानी देवी और कर्णम मल्लेश्वरी—ही इस स्तर पर एक से ज्यादा बार पदक जीत चुकी हैं। कुंजरानी ने सात बार सिल्वर मेडल जीता, जबकि मल्लेश्वरी के नाम दो गोल्ड और दो ब्रॉन्ज (कुल चार) मेडल हैं। अब मीराबाई इस गौरवशाली सूची में तीसरे स्थान पर पहुंच गई हैं।