Wednesday - 19 November 2025 - 12:41 PM

BMC चुनाव से पहले कांग्रेस अकेले मैदान में, शरद पवार से मुलाकात ने बढ़ाई सियासी हलचल

जुबिली न्यूज डेस्क

मुंबई। महाराष्ट्र में आगामी निकाय चुनाव, विशेषकर BMC इलेक्शन से पहले कांग्रेस ने साफ कर दिया है कि वह अकेले चुनाव लड़ेगी। यानी महाविकास अघाड़ी (MVA) से अलग होकर पार्टी अपने दम पर मैदान में उतरने की तैयारी में है। कांग्रेस की नाराजगी का सबसे बड़ा कारण बताया जा रहा है—उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे का नज़दीक आना, साथ ही राज ठाकरे से असहमति। हालांकि शरद पवार से कांग्रेस की कोई दूरी नहीं है, लेकिन राजनीतिक समीकरण ऐसे बन रहे हैं कि कांग्रेस की यह रणनीति पवार पर भी असर डाल सकती है।

शरद पवार के घर पहुंची मुंबई कांग्रेस—सियासी गलियारों में मची हलचल

बुधवार, 19 नवंबर की सुबह एक तस्वीर ने अचानक महाराष्ट्र की राजनीति में गर्मी बढ़ा दी।मुंबई कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल, वर्षा गायकवाड़, अमीन पटेल, असलम शेख और ज्योति गायकवाड़ के नेतृत्व में शरद पवार के आवास सिल्वर ओक पहुंचा।बीएमसी चुनाव से पहले हुई इस मुलाकात को बेहद अहम माना जा रहा है। सूत्रों के अनुसार, यह बैठक गठबंधन की संभावनाओं, सीट शेयरिंग और स्थानीय निकाय चुनाव की रणनीति पर चर्चा के उद्देश्य से हुई।

क्या कांग्रेस चाहती है कि शरद पवार ठाकरे भाइयों से दूरी रखें?

राजनीतिक हलकों में कयास तेज हैं कि—

  • कांग्रेस नहीं चाहती कि उद्धव ठाकरे + राज ठाकरे + शरद पवार मिलकर उसके बिना नया गठबंधन बनायें।

  • इसलिए कांग्रेस चाहती है कि शरद पवार उद्धव-राज ठाकरे दोनों से दूरी बनाएं

  • कांग्रेस के लिए यह जरूरी है कि कम से कम NCP-SP उसके साथ गठबंधन में रहे, ताकि BMC जैसे बड़े निकाय में सीटों का सीधा मुकाबला न हो।

क्या कांग्रेस ‘अकेले लड़ने’ का निर्णय बदलेगी?

कांग्रेस पहले ही कई बार घोषणा कर चुकी है कि वह सभी निकायों में अकेले चुनाव लड़ेगी
अब सवाल यह है:

  • जब पार्टी ने अकेले लड़ने का ऐलान किया है,

  • तो फिर शरद पवार से मुलाकात करके गठबंधन की जमीन क्यों तलाश रही है?

क्या कांग्रेस BMC के लिए रणनीति बदल सकती है?
क्या वह सीटों के तालमेल के लिए तैयार है?
इस पर अभी पार्टी की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।

क्या शरद पवार भी छोड़ देंगे ठाकरे बंधुओं का साथ?

कांग्रेस और पवार की इस मुलाकात से ये अटकलें भी लगीं कि:

  • क्या NCP-SP कांग्रेस के साथ आकर

  • उद्धव-राज ठाकरे से दूरी बना सकती है?

क्योंकि कांग्रेस ने साफ कह दिया है—
वह ठाकरे भाइयों के साथ गठबंधन करके चुनाव नहीं लड़ेगी।

इसलिए आगे की रणनीति में पावर सेंटर अब शरद पवार हो सकते हैं।

MVA की स्थिति बनी धुंधली, सभी दल चुप

इस पूरी घटना पर—

  • न उद्धव ठाकरे,

  • न राज ठाकरे,

  • न शरद पवार

  • और न ही कांग्रेस के शीर्ष नेताओं ने कोई आधिकारिक बयान दिया है।

ऐसे में महाविकास अघाड़ी की स्थिति पूरी तरह कनफ्यूजन में है कि गठबंधन रहेगा, टूटेगा या नई सियासी आर्किटेक्चर तैयार होगा।

 

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